पुलिस हिरासत में ही मौत, थाना प्रभारी पर दर्ज हुआ एफआईआर
रायपुर। जमीन विवाद को लेकर रिपोर्ट दर्ज कराने मरवाही थाने गए भाजपा कार्यकर्ता चंद्रिका तिवारी (65) और उनके बेटे दिनेश तिवारी (35) की पुलिस ने कपड़े उतरवाकर लॉकअप में बेदम पिटाई की। इससे चंद्रिका की पुलिस हिरासत में ही मौत हो गई। जब एसपी अभिषेक मीणा ने टीआई को लाइन अटैच कर दिया, तब मामला शांत हुआ। मामले में थाना प्रभारी को लाइन अटैच करने के बाद अब विभिन्न पार्टी , नेता मंत्री और ग्रामीणों के दबाव के चलते थाना प्रभारी टीआई इ.एक्का के ऊपर एफआईआर दर्ज कर लिया गया है। कल शाम हुए इस घटना में मृतक के पुत्र दिनेश ने मरवाही थाने के टीआई के ऊपर रत भर पिटाई का आरोप लगाया तो वही दूसरी ओर टीआई इ.एक्का ने इन सरे आरोपों को सिरे से ख़ारिज कर कहा की मेरे द्वारा किये गए कार्यवाही का बदला लेने के लिए ये आरोप लगाए जा रहे है।
इस घटना के चलते ग्रामीणों में भारी रोष देखा गया जिसके बाद सभी ग्रामीणों ने इक्कठा होकर थाने का घेराव कर दिया और थाना प्रभारी पर हत्या का अपराध दर्ज करने की मांग की जिसके बाद से ही थाने को छावनी में तब्दील कर दिया गया है।
मरवाही थाना में हुई हत्या को लेकर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष धरमलाल कौशिक ने कहा जब से कांग्रेस की सरकार बनी प्रदेश में अराजकता का माहौल है। रक्षा के लिए तैनात पुलिस ही भक्षक का काम कर रही है मरवाही पुलिस पर भरोसा नहीं है। साथ ही साथ मरवाही थाने के टीआई पर हत्या का मामला दर्ज करने की मांग की थी।
– जोगी ने गृहमंत्री ताम्रध्वज को लिखा पत्र
पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी ने मामले में गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू को पत्र लिखकर मामले में मृतक के परिजनों को 15 लाख मुआवज़ा राशि प्रदान करने की बात कही। इसके अलावा मामले की निष्पक्ष जांच कराने और अपराधियों को दंड दिए जाने पर ज़ोर डाला।