छत्तीसगढ़

पुलिस की हिरासत में मौत, जोगी पार्टी ने की उच्च स्तरीय जांच की मांग , 15 लाख मुआवजा भी

मरवाही थाने का मामला

रायपुर। जोगी पार्टी प्रमुख, पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी ने गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू को पत्र लिखकर मरवाही थाने में युवक की पुलिस हिरासत में मौत की न्यायाधीश की निगरानी में उच्च स्तरीय जांच एवं उसके परिजनों को 15 लाख मुआवजा देने की मांग की है। उन्होंने कहा है कि कुम्हारी गांव के युवक को पुलिस ने हिरासत में लिया था और वहां उसकी पिटाई से मौत हो गई थी।
श्री जोगी ने पत्र में कहा है कि मरवाही क्षेत्र के कुम्हारी गांव के रहने वाले चंद्रिका प्रसाद तिवारी ने अपने भाई के साथ विवाद की शिकायत फोन पर मरवाही पुलिस से की थी। पुलिस ने इस पर चंद्रिका और उसके परिवार को हिरासत में लेकर उनकी थाने में जमकर पिटाई की। मृतक के परिवार का आरोप है कि थाना प्रभारी ने अपने थाने में चंद्रिका के साथ गाली-गलौज करते हुए उसकी लात-घूसों से जमकर पिटाई की। पिटाई की भयावहता का अंदाज इस बात से लगाया जा सकता है कि मृतक का दांत पिटाई के दौरान ही टूट गया था।
पत्र में श्री जोगी ने यह भी कहा है कि धारा 151 के मुचलके में तबियत बिगडऩे पर उसे सिम्स बिलासपुर रेफर किया गया था, लेकिन रास्ते में ही चंद्रिका की मौत हो गई। इस घटना से क्षेत्र के लोगों में रोष हैं। उन्होंने मांग की है कि मृतक के परिजनों को 15 लाख मुआवजा देते हुए घटना की उच्च स्तरीय जांच न्यायाधीश की निगरानी में की जाए। वहीं पुलिस कर्मियों को तत्काल निलंबित कर दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।

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