छत्तीसगढ़

Chhattisgarh Budget Session 2025: विधानसभा में पीडीएस केंद्रों और दिव्यांगजनों के पद चिन्हांकन का मुद्दा गरमाया

Chhattisgarh Budget Session 2025: छत्तीसगढ़ विधानसभा के बजट सत्र के 16वें दिन किराए के भवनों में संचालित सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) केंद्रों और दिव्यांगजनों..

20, March, 2025 | रायपुर। Chhattisgarh Budget Session 2025: छत्तीसगढ़ विधानसभा के बजट सत्र के 16वें दिन किराए के भवनों में संचालित सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) केंद्रों और दिव्यांगजनों के लिए पद चिन्हांकन का मामला सदन में जोर-शोर से उठा। इस दौरान विधायकों ने सरकार से इन मुद्दों पर जवाब मांगा और संबंधित मंत्रियों ने अपनी सफाई पेश की।

बिजापुर में 482 भवन विहीन पीडीएस केंद्र

विधायक दिलीप लहरिया ने सदन में सवाल उठाते हुए पूछा कि बिजापुर जिले में कुल कितने पीडीएस केंद्र संचालित हैं और उनमें से कितने किराए के भवनों में चल रहे हैं? साथ ही उन्होंने जानना चाहा कि इन भवनों का निर्माण कब तक पूरा होगा और इसके लिए धनराशि किस मद से आती है?

इसके जवाब में खाद्य मंत्री दयाल दास बघेल ने बताया कि बिजापुर जिले में कुल 482 पीडीएस केंद्र ऐसे हैं, जो अभी तक भवन विहीन हैं। इन केंद्रों को चलाने के लिए संबंधित समूह या व्यक्ति किराए पर भवन लेकर संचालन कर रहे हैं।

विधायक लहरिया ने आगे सवाल किया कि जो समूह इन दुकानों का संचालन कर रहे हैं, उन्हें भवनों के लिए कितना किराया दिया जाता है और जो केंद्र अभी भी खाली हैं, उनके लिए भवन निर्माण कब तक पूरा होगा? इस पर मंत्री बघेल ने कहा कि रोजगार गारंटी योजना और अन्य अलग-अलग मदों से राशि स्वीकृत कर भवनों का निर्माण किया जाएगा।

दिव्यांगजनों के लिए पद चिन्हांकन का मुद्दा भी उठा

सदन में दिव्यांगजनों के अधिकारों से जुड़े मुद्दे पर भी चर्चा हुई। भाजपा विधायक प्रबोध मिंज ने पूछा कि दिव्यांगजन अधिकार अधिनियम 2016 के तहत अब तक कितने पद चिन्हांकित किए गए हैं और क्या सरकार इस प्रक्रिया में देरी कर रही है?

इस पर महिला एवं बाल विकास मंत्री लक्ष्मी राजवाड़े ने बताया कि कुल 21 प्रकार के दिव्यांगजनों के लिए पद चिन्हांकित किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि आधे से अधिक विभागों से आवश्यक जानकारी प्राप्त कर ली गई है और जल्द ही सभी विभागों से रिपोर्ट मिलने के बाद इस प्रक्रिया को पूरा कर लिया जाएगा।

हालांकि, विधायक प्रबोध मिंज ने आपत्ति जताते हुए कहा कि 2016 में यह अधिनियम लागू हुआ था और 9 साल बीतने के बावजूद अब तक पद चिन्हांकन पूरा नहीं हुआ है। इस पर मंत्री राजवाड़े ने सफाई देते हुए कहा कि प्रक्रियाओं को पूरा करने में समय लगता है, लेकिन सरकार इस दिशा में तेजी से काम कर रही है

सरकार ने दिया आश्वासन

विधानसभा में दोनों मुद्दों पर विस्तार से चर्चा के बाद सरकार ने आश्वासन दिया कि पीडीएस केंद्रों के लिए जल्द से जल्द भवनों का निर्माण कराया जाएगा और दिव्यांगजनों के लिए पद चिन्हांकन की प्रक्रिया को प्राथमिकता दी जाएगी

अब देखना होगा कि सरकार अपने इन वादों को कितनी जल्दी अमल में लाती है और जमीनी स्तर पर इन योजनाओं को लागू करने में कितनी सफलता मिलती है।

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